Parcel Bomb Case: मामला छत्तीसगढ़ का है। आरोपी कॉलेज का प्रिंसिपल बनना चाहता था, लेकिन प्रबंधन ने दूल्हे की मां संयुक्ता को पद दे दिया। इससे पुंजीलाल के मन में ईर्ष्या पैदा हो गई। उसने पार्सल में बम भेजा, जिससे हुए विस्फोट में दूल्हे और उसकी दादी की मौत हो गई।
By Arvind Dubey
Publish Date: Thu, 29 May 2025 10:10:33 AM (IST)
Updated Date: Thu, 29 May 2025 10:36:24 AM (IST)
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HighLights
- अंग्रेजी लेक्चरर पुंजीलाल ने 2018 में रायपुर से ओडिशा भेजा था बम
- पाटनागढ़ कॉलेज के प्रिंसिपल से जलन में लेक्चरर ने रची थी साजिश
- दूल्हे और उसकी दादी की हो गई थी मौत, दुल्हन हो गई थी घायल
नईदुनिया संवाददाता, संबलपुर (Parcel Bomb Case): रायपुर से सात साल पहले ओडिशा के बोलांगीर जिले में भेजे गए पार्सल के धमाके से नवविवाहित सौम्य शेखर साहू और उनकी दादी जेमामनी की मृत्यु हो गई थी, जबकि नवविवाहिता रीमा रानी साहू गंभीर रूप से घायल हुई थीं। इस मामले में अतिरिक्त जिला न्यायाधीश (एडीजे) की अदालत ने अंग्रेजी लेक्चरर पुंजीलाल मेहर को आजीवन कारावास की सजा सुनाई।
साथ ही उस पर एक लाख 70 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया। अदालत के इस फैसले के बाद पुंजीलाल मीडियाकर्मियों पर भड़क गया और गाली-गलौज की।
कॉलेज का प्रिंसिपल नहीं बना तो हुई जलन
- पुलिस के अनुसार, यह घटना शादी के पांच दिन बाद 23 फरवरी 2018 को घटी थी। आरोपी पाटनागढ़ के भैंसा स्थित ज्योति विकास कॉलेज का प्रिंसिपल बनना चाहता था। लेकिन, दूल्हे की मां संयुक्ता को पुंजीलाल की जगह कॉलेज का प्रिंसिपल बनाया गया।
(पुंजीलाल की फाइल फोटो)
पाटनागढ़ में चालू मोबाइल छोड़कर आया था रायपुर
अंग्रेजी के लेक्चरर पुंजीलाल ने यू-ट्यूब से सीखकर पार्सल बम तैयार किया था। लोकेशन पाटनागढ़ दिखती रहे, इसलिए ऑन मोबाइल वहां छोड़कर पुंजीलाल ट्रेन से रायपुर आया। अपने एक छात्र की आईडी से पार्सल ऑटो रिक्शे वाले को भेजकर बुक करवाया और लौट गया।
वारदात के एक माह बाद तक पुलिस को यही शक था कि आरोपी रायपुर का ही है। प्रोफेसर ने तय किया कि पार्सल बम वह रायपुर से खुद ही कूरियर करेगा। वह ट्रेन से 15 फरवरी 2018 को रायपुर आया। वह अपने साथ कॉलेज के ही छात्र एके शर्मा का आधार कार्ड लाया था।
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स्टेशन पहुंचते ही उसने कूरियर के बारे में पता किया। ऑटो करके वह स्टेशन चौक के ही एक कूरियर में पहुंचा। लेकिन वहां प्रक्रिया इतनी लंबी थी कि वह वहां से निकल गया और पूछताछ करता हुआ वह फाफाडीह के स्काई किंग कोरियर कंपनी के सामने पहुंच गया।